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राहत सूची में अमीरों के नाम! जाखड़ी, धामसीन, धानोल व बामनवाड़ा गांव का मसला, प्रभावित जनता सडक़ पर उतरी, जालोर जिले की ताजा खबरों के लिए आपका स्वागत हैं।।

Friday, October 2, 2015

राहत सूची में अमीरों के नाम

जाखड़ी, धामसीन, धानोल व बामनवाड़ा गांव का मसला, प्रभावित जनता सडक़ पर उतरी

रानीवाड़ा।

गत
दिनों कुदरती जलजले से आहत किसानों को राहत दिलाने के लिए बनी सर्वे सूची में कथित अमीरों ने अपना नाम जुडवाकर लाखों का फर्जीवाड़ा करने का कुचक्र उजागर हुआ है। लोगों में सरकार व प्रशासन के प्रति आक्रोश देखा जा रहा है। जाखड़ी, धानोल सहित धामसीन पंचायत में अतिवृष्टि सर्वे में स्थानीय जनप्रतिनिधियों के द्वारा दबाव देकर अपने चेहतों के नाम दर्ज करवाकर लाखों रूपएं स्वीकृत कराने के मामले सामने आ रहे है। ऐसे दंबगों के खिलाफ आमजन सडक़ पर उतर रहा है। पार्टी विशेष के दंबगाई नेता अपने प्रभाव का इस्तेमाल कर लाखों रूपए बटोरने में लगे हुए है। शुक्रवार का गांधी जयंति पर अवकाश होने के बावजूद जाखड़ी व धामसीन के सैंकड़ों किसानों ने एसडीएम निवास के सामने दो घंटे तक विरोध का इजहार कर गलत सर्वे को दुरस्त कराने की मांग रखी है। गुरूवार को पंचायत समिति सभा भवन में आयोजित जन सुनवाई की बैठक में भी किसानों ने विधायक देवल के सामने सख्त नाराजगी जाहिर की है। एसडीएम निसार खान ने किसानों को न्याय दिलाने के लिए आश्वस्त किया है।
जाखड़ी से प्राप्त जानकारी के मुताबिक, कुछ प्रभावशाली नेताओं ने कुछ ऐसे दंबग लोगों के पक्के मकान अतिवृष्टि में जमींदोज होने की गलत सूचना सर्वे में दाखिल करवा दी थी। राज्य सरकार के द्वारा स्वीकृत राहत राशि की सूची को देखने पर लोगों का गुस्सा पंचायत भवन के सामने उमड़ पड़ा। सैंकड़ों लोगों ने पंचायत के सामने विरोध प्रदर्शन कर सरकार के खिलाफ नारेबाजी कर न्याय दिलाने की मांग रखी। ग्रामीण प्रेमाराम पुरोहित व छोटुसिंह ने बताया कि पटवारी व ग्राम सेवक ने सर्वे में मौजूदा सरकार में बैठे राजनेताओं के प्रभाव में आकर कुछ गलत लोगों के नाम लिख दिए जिनकों शून्य नुकसान हुआ है। ऐसे लोगों के नाम भी शामिल है जिनके लाखों के भव्य बंगले बने हुए है। जबकि, वास्तव में पीडि़त किसान व ग्रामीणों के नाम सूची से गायब है। ऐसे में उनमें सरकार व प्रशासन के प्रति नाराजगी देखी जा रही है। एसडीएम निसार खान ने बताया कि सर्वे राजस्व विभाग की टीम के द्वारा किया गया है। ऐसे मामलों को जिला कलक्टर को भेजकर उनके अग्रिम निर्देशों के तहत कार्यवाही की जाएगी।
धामसीन में भी रोष
धामसीन व बामनवाड़ा गांव में भी ऐसे ही हालात देखने को मिले है। आज वहां से भी चार दर्जन लोगों ने अवकाश के दिन एसडीएम निसार खान के आवास पर मुलाकात कर कार्यवाही करने की मांग की है। धामसीन में करोड़पति किसानों को ९५ हजार की राहत राशि स्वीकृत की गई हे। ऐसे कई दर्जन उदाहरण है। ग्रामीणों ने लाभान्वित सम्पन्न किसानों की सूची भी एसडीएम को देकर राहत राशि का रद्द करने की गुहार लगाई है।
धनबली हुए लाभान्वित
धामसीन व बामनवाड़ा में अतिवृष्टि से प्रभावित वास्तविक किसानों का नाम सूची से गायब है। गांव के बाहुबली व धनबली किसानों ने अपने प्रभाव का इस्तेमाल कर अपने नाम सूची में जुड़वा दिए है। जो कि गरीब जनता के साथ अन्याय है। हम सडक़ पर उतर संघर्ष करेंगे।
- गणेशाराम मेघवाल, धामसीन।
फर्जी नाम रद्द होंगे
जाखड़ी गांव में लाभान्वित परिवारों की सूची में फर्जी नाम आने से लोगों में नाराजगी है। हमने ग्राम पंचायत के लेटरपैड पर जिला कलक्टर को पत्र लिखकर ऐसे नाम काटने का निवेदन किया है। वास्तविक आहतों को राहत दिलाने के लिए हम बार -बार प्रशासन का दोबारा सर्वे करने का निवेदन कर चुके है।
- श्रीमति मनीषाकंवर देवड़ा, सरपंच, जाखड़ी।   

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